गुरुवार, 5 जनवरी 2012

फिटनेस फंडा

आप घर में ही एक्सर्साइज करके खुद को फिट रख सकते हैं।




जिम नहीं तो घर

दरअसल , अक्सर रेग्युलर एक्सर्साइज के लिए जिम जाने वाले लोग सर्दी - गर्मी और बरसात जैसी वजह से कई - कई दिनों तक एक्सर्साइज करने नहीं जाते। इसके बाद होता यह है कि उनका मेटाबॉलिक रेट कम होता जाता है। इससे उन्हें आलस आने लगता है और उनकी बॉडी पर दोबारा से फैट चढ़ने लगता है। एक्सपर्ट्स का मानना है कि अगर आप जिम नहीं जा पा रहे हैं , तो घर पर ही एक्सर्साइज कर सकते हैं। फिटनेस एक्सपर्ट लीना मोंगरे कहती हैं , ' अगर वर्कआउट के लिए बाहर निकलने का मन न हो , तो परेशान होने वाली कोई बात नहीं। आप घर बैठकर ही एक्सर्साइज कर सकती हैं। इसके लिए बस चाहिए अच्छा म्यूजिक और थोड़ा सा स्पेस। '


बिना मशीन के वार्म अप


आपके पास घर में कॉर्डियो मशीन नहीं है , तो इसका मतलब यह नहीं कि आप वॉर्म आप नहीं कर सकते। इसमें टेंशन लेने की कोई जरूरत नहीं है। इसलिए सबसे पहले अपने जूते निकालिए और खड़े - खड़े जॉगिंग शुरू कर दीजिए। एक ही जगह पर तकरीबन 10 मिनट तक जॉगिंग करें। इससे आपका बखूबी वॉर्म अप हो जाएगा। इसके बाद मैट या टॉवल बिछाएं और तैयार हो जाएं सूर्य नमस्कार के लिए। आपको बता दें कि सूर्य नमस्कार में 12 पॉश्चर होते हैं और यह करीब एक मिनट में एक बार पूरा होता है।



सूर्य नमस्कार

सीधे खड़े हो जाएं। पैरों को फैला दें। हाथ सीधे ऊपर की तरफ स्ट्रेच करें। अब बाहर सांस छोड़े और धीरे - धीरे नीचे झुकें। हाथों से जमीन को छूएं। अब वापस सीधे खड़े हो जाएं। अब दोनों हाथों की हथेलियों को जमीन पर टिका दें। बाएं पैर को पीछे ले जाएं। अब आपकी बॉडी एक आर्च फॉर्म करेगी यानी कि एक पहाड़ के शेप में होगी। अब आप बॉडी को जमीन पर छोड़ दें। आपके पैर , थाई , चेस्ट , माथा और हाथ सब जमीन को टच होने चाहिए। अब फिर प्रेशर डालकर बॉडी को उठाएं और पहले वाली पोजिशन में ले आएं। अब बाएं पैर को वापस लाएं। उसके बाद दाएं पैर को भी वापस अपनी पोजिशन में ले आएं। स्टैडिंग पोजिशन में हो जाएं। इसके बाद यह क्रम फिर से दोहराएं।



सर्किट

जब आप सर्किट कर रहे हों , तो यह ध्यान रखें कि आप इसे लगातर 25 बार करें। फिर दो बार और रिपीट करें।



स्क्वाट्स

अपने पैरों और कंधों को एक ही लेवल पर रखें। हाथ आगे निकालें और बैलेंस करते हुए ऐसे झुकें जैसे चेयर पर बैठे हों। अपनी बैक स्ट्रेट रखें और घुटनों को पैरों के लेवल से आगे न झुकने दें। अब वापस ऊपर जाकर स्ट्रेट पॉजिशन में खड़े हो जाएं। एक्सर्साइज को एक बार फिर से रिपीट कर लें।



लंजेस

सीधे खड़े हो जाएं। अब अपना बायां पैर वापस लाकर 90 डिग्री पर झुकें। आपका पैर जमीन पर पूरी तरह फ्लैट होना चाहिए। अपनी बैक स्ट्रेट रखें। अब थोड़ी देर रुक के वापस स्टार्ट पोजिशन पर आएं। अब दूसरे पैर से करें। दोनों पैरों से 25-25 बार करें।



पुश अप्स

अपने आप को जमीन पर फ्लैट पोजिशन में करें और अपनी टोज पर और हाथों पर बैलेंस करें। अगर बॉडी में ताकत कम है , तो घुटनों और हाथों पर बैलेंस करें। हाथों को दूर - दूर रखें। आपकी पूरी बॉडी एक स्ट्रेट लाइन में होनी चाहिए। अब बैलेंस करते हुए ऊपर आएं , जब तक कि आपके हाथ 90 डिग्री ऐंगल पर नहीं आते। फिर नीचे जाएं। इसे दो से तीन बार रिपीट करें।



क्रंचेज

अपनी बैक पर फ्लैट लेट जाएं। अपने पैर थोड़े बैंड कर लें और ज्यादा दूर न रखें। हाथों को सपोर्ट के लिए सर के पीछे रखें। आप ऊपर आकर सर को पैर तक लाने की कोशिश करें। इस एक्सर्साइज को फिर से रिपीट करें।



कूल डाउन

जब आप वर्कआउट कर चुके हों , तो आप लोअर बैक स्ट्रेचेज करें। अपनी पीठ पर फ्लैट लेट जाएं और बाएं पैर को चेस्ट तक लाएं। अब बाएं पैर को वापस फ्लैट पोजिशन पर ले जाकर दाएं पैर को चेस्ट तक लाएं। अब दोनों पैरों को साथ में चेस्ट तक लाएं और रिलैक्स करें।



सावधानी

अगर आपको बैक या जॉइंट प्रॉब्लम है , तो कोई भी एक्सर्साइज करने से पहले अपने फिटनेस एक्सपर्ट से कंसल्ट करें।
ये करें एक्सर्साइज


- प्रेशर में एक्सर्साइज करने की बजाय आपको ऐसी एक्सर्साइज करनी चाहिए , जो आपको खुशी दें। जैसे स्विमिंग , दोस्तों के साथ ब्रिस्क वॉकिंग या बैडमिंटन वगैरह।

- आप चाहें , तो खुद को तरोताजा रखने के लिए योगासन भी कर सकते हैं।

- जहां तक जिम ट्रेनिंग की बात है , वहां भी लाइट वेट एक्सर्साइज ही करनी चाहिए। ट्रेड मील पर दौड़ने की बजाय चलना ज्यादा बेहतर रहता है।

- आप अपने एक्सर्साइज के वक्त को कम भी कर सकते हैं। 30 से 45 मिनट की एक्सर्साइज आपकी सेहत के लिए बेहतर रहेगी।

एक्सर्साइज करते वक्त ढीले और आरामदायक कपडे़ ही पहनें।



एक्सर्साइज शेड्यूल

- हफ्ते में दो बार योगासन

- हफ्ते में एक बार कोई भी खेल

- हफ्ते में दो बार जिम या वॉक

- हफ्ते में दो बार स्विमिंग



डायट का रखें ख्याल

- एक्सर्साइज के साथ - साथ सही डायट लेना बेहद जरूरी है।

- बैलेंस डायट को लंबे समय तक कंटिन्यू किया जा सकता है , लेकिन बॉडी को कंप्लीट न्यूट्रीशन मिलना बेहद जरूरी है।

- कम तेल का घर का बना खाना हमेशा बेहतर ऑप्शन होता है।

- रोजाना कम से कम एक फल जरूर खाएं।

- चावल का सेवन कम से कम करें।

- घी खाना पूरी तरह बंद न करें , क्योंकि यह रोगों से लड़ता है। लेकिन इसे सही मात्रा में इस्तेमाल करें ।

- हफ्ते में कम से कम पाँच बार पत्तेदार सब्जियों का सेवन जरूर करें।

- अपनी रोजाना डायट में सलाद , छाछ और दही को शामिल करें।

- प्रतिदिन दूध जरूर पीएं।

- पापड़ , अचार , मीठा , जंक फूड , नशीली व तली हुई चीजें खाने से बचें।